
जब जुगनुओ में सूरज की चमक हो ,,
तब शमा औकात में जले बेहतर है ,,
जब फुन्गियो पे दौड़ का ऐलान हो ,,
तब जहां हाथ पे चले बेहतर है ,,
जब बुजदिलो के हाथ में सरकार हो ,,,
जुल्म का प्रतिशोध न पले बेहतर है ,,
जब बासिंदों में रिहायस का टकराव हो ,,
बस्तिया हँसती-हँसाती मिले बेहतर है ,,,
जब मजहबो से भगवान् की पहिचान हो ,,
मिलना नहीं खुल कर गले बेहतर है ,,,
तब शमा औकात में जले बेहतर है ,,
जब फुन्गियो पे दौड़ का ऐलान हो ,,
तब जहां हाथ पे चले बेहतर है ,,
जब बुजदिलो के हाथ में सरकार हो ,,,
जुल्म का प्रतिशोध न पले बेहतर है ,,
जब बासिंदों में रिहायस का टकराव हो ,,
बस्तिया हँसती-हँसाती मिले बेहतर है ,,,
जब मजहबो से भगवान् की पहिचान हो ,,
मिलना नहीं खुल कर गले बेहतर है ,,,